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कितने तरह का होता है डेंगू वायरस ?, ये लक्षण दिखने पर ही हॉस्पिटल में कराएं एडमिट

Published on: April 20, 2024

The Khabar Xpress 20 अप्रेल 2024। डेंगू में मरीज को बुखार आता है और उसकी प्लेटलेट्स कम होने लगती हैं। अगर इलाज और देखभाल सही न हो तो मरीज को अस्पताल में भी भर्ती कराना पड़ जाता है। हालांकि स्थिति इस बात पर निर्भर करती है कि मरीज में डेंगू के वायरस का टाइप कौन सा है। डेंगू का वायरस मूल रूप से चार तरह का होता है। डेन1, डेन2, डेन3 और डेन4 सेरोटाइप।

डेंगू के मुख्य लक्षण

  • मसल्स में बहुत तेज दर्द होता है। साथ ही कमर और सिर में भी तेज दर्द होगा।
  • आंखों के आसपास दर्द होता है। पुतली में भी दर्द हो सकता है।
  • जोड़ों में दर्द होता है।

Dengue

मच्छरों से बचकर रहें

…तो ही हॉस्पिटल में कराएं एडमिट

  • बुखार 102 डिग्री से ज्यादा होने पर
  • शरीर का एकदम से गर्म या एकदम ठंडा हो जाने पर
  • बेहद कमजोरी महसूस होने और चक्कर आने पर
  • बीपी और पल्स का गिरना (120/80 की जगह 100/70 या इससे भी कम)
  • पेट में तेज दर्द होने पर
  • लगातार उल्टियां आने पर
  • दिमागी हालत बिगड़ने पर

प्लेटलेट्स गिरने से न घबराएं

डेंगू होने के बाद मरीज की प्लेटलेट्स कम होने लगती हैं। इससे मरीज के परिजन घबरा जाते हैं। ऐसा न करें। अगर किसी का सामान्य रूप से प्लेट्सलेट्स काउंट 2 लाख हो और डेंगू की वजह से यह कम होकर पहले 1 लाख और उसके बाद 50 हजार से नीचे आ जाए, पर कोई गंभीर परेशानी न हो, मसलन: नाक, यूरिन, स्टूल आदि से खून न आता हो तो घबराने की स्थिति नहीं है। जो प्लेटलेट्स की संख्या कम हुई है, वह खुद ब खुद बढ़कर सामान्य हो जाएगी।

डेंगू की होती हैं ये 3 स्टेज

1. सामान्य डेंगू : जिस दिन मरीज को बुखार आता है उसके 4 दिन तक प्लेटलेट्स सामान्य ही रहते हैं। बुखार में कोई आराम नहीं मिलता। बुखार के अलावा कोई दूसरे लक्षण नहीं दिखते। 5वें दिन से प्लेटलेट्स की संख्या कम होनी शुरू हो जाती है।
2. डेंगू हेमरैजिक: प्लेटलेट्स अचानक कम होने की वजह से मुंह, नाक आदि से खून निकलने लगता है। कई लोगों को इससे पहले भी ऐसा हो सकता है। ठंड के साथ तेज बुखार आता है और बीपी भी कम हो जाता है। प्लेटलेट्स चढ़ाने की स्थिति बन जाती है।
3. डेंगू शॉक सिंड्रोम: यह बहुत ज्यादा खतरनाक स्टेज है। बीपी कम होकर 70/40 तक या इससे भी कम हो सकता है। ऐसी स्थिति में लिवर, किडनी, हार्ट आदि के फेल होने की आशंका बढ़ जाती है।

Disclaimer: इस लेख में बताई गई जानकारी और सुझाव को पाठक अमल करने से पहले डॉक्टर या संबंधित एक्सपर्ट से सलाह जरूर लें। 

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